कल बंद होंगे गंगोत्री धाम के कपाट

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चारधाम: श्रद्धालुओं ने बनाया नया रिकॉर्ड

27 अक्टूबर को यमुनोत्री व केदार धाम के कपाट बंद होंगे
बद्रीनाथ धाम के कपाट 19 नवंबर को बंद किए जाएंगे

देहरादून। छह माह चली चार धाम यात्रा अब अपने समापन की ओर है। कल गंगोत्री धाम मंदिर के कपाट बंद होने के साथ शुरू होने वाली यह प्रक्रिया 19 नवंबर को बद्रीनाथ धाम के कपाट बंद होने के साथ पूरी हो जाएगी। इसके बाद चारों धामों के देव दर्शन उनके शीतकालीन निवास स्थलों पर किए जा सकेंगे।
अक्षय तृतीया पर 3 मई को जो चार धाम के कपाट खुलने की प्रक्रिया शुरू हुई थी वह अब अपने अंतिम चरण पर पहुंच चुकी है। सभी चारों धामों के कपाट बंद किए जाने की तिथियों और समय को धर्माधिकारियों द्वारा तय किया जा चुका है। परंपरानुसार मां गंगोत्री के कपाट सबसे पहले बंद होते हैं जो कल 26 अक्टूबर 12 बजकर एक मिनट पर बंद किए जाएंगे और मां गंगोत्री की विग्रह डोली अपने शीतकालीन प्रवास उखीमठ के लिए रवाना हो जाएगी जो 27 अक्टूबर को गद्दी स्थल पर पहुंचेगी।
वही 27 अक्टूबर दोपहर 12 बजे यमुनोत्री धाम मंदिर के कपाट भी विधिवत पूजा अर्चना के साथ बंद कर दिए जाएंगे और मां यमुनोत्री की डोली खरशाली के लिए रवाना हो जाएगी। 27 अक्टूबर को ही सुबह 8.30 बजे बाबा केदार धाम के मंदिरों के कपाट बंद हो जाएंगे और वह अगले 6 माह तक अपने भक्तों को दर्शन के लिए ओमकारेश्वर मंदिर में प्रवास करेंगे। बद्रीनाथ धाम के मंदिर के कपाट 19 नवंबर को शाम 3.35 पर बंद किए जाएंगे इसके साथ ही चार धाम यात्रा का समापन हो जाएगा। यहां यह भी उल्लेखनीय है कि 2 साल तक कोरोना के कारण प्रभावित रही चार धाम यात्रा में इस साल रिकॉर्ड श्रद्धालु पहुंचे। बद्रीनाथ और केदारनाथ धाम आने वालों की संख्या इस साल 42 लाख के आसपास रहेगी। इससे पूर्व 2019 में दोनों धामों में लगभग 22 लाख श्रद्धालु पहुंचे थे।

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