नई दिल्ली। वलसाड में 50 साल के एक भिखारी की भूख से मौत हो गई। बताया जा है कि उसके पास 1।14 लाख रुपये कैश थे, फिर भी वह भूख से उसके प्राण निकल गए। उसका शव गांधी लाइब्रेरी के पास पड़ा हुआ मिला। एक दुनकानदार ने आपातकालीन सेवाओं को फोन कर इसकी जानकारी दी। सूचना मिलने पर आपातकालीन चिकित्सा तकनीशियन भावेश पटेल और उनकी टीम घटनास्थल पर पहुंची। उन्होंने पाया कि बुजुर्ग व्यक्ति की तबीयत बिगड़ रही है और बाद में उन्हें इलाज के लिए वलसाड सिविल अस्पताल में भर्ती कराया गया। रिपोर्टों के अनुसार, अस्पताल के कर्मचारियों को भिखारी के पास से काफी मात्रा में नकदी मिली, जिसमें 500 रुपये के 38 भारतीय मुद्रा नोट, 200 रुपये के 83 नोट, 100 रुपये के 537 नोट और 20 रुपये और 10 रुपये के अतिरिक्त नोट शामिल थे। इन सभी नोटों को इकट्ठा किया गया था और छोटे प्लास्टिक बैग में उसके स्वेटर की जेब में लपेटा गया था। पुलिस को नकदी सौंप दी गई है। वलसाड सिविल अस्पताल के डॉ। कृष्णा पटेल ने कहा ‘जब मरीज को हमारे पास लाया गया, तो उसने चाय मांगी। हमें लगा कि वह भूखा है और उसका ब्लड शुगर लेवल कम हो गया। हमने सलाइन डाली और इलाज शुरू किया। एक घंटे बाद उसकी मौत हो गयी। पिछले कुछ दिनों से उन्होंने कुछ भी नहीं खाया था।’ भिखारी की पहचान की अभी पुष्टि नहीं हो पाई है। पुलिस ने व्यवस्थित तरीके से 500, 200 और 100 रुपये के नोटों की गड्डियों में रखी नकदी को कब्जे में ले लिया है।