बीआरओ सीमा पर बैठे लोगों के दिलों को जोड़ता हैः राजनाथ

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  • मुख्यमंत्री धामी ने भी की बीआरओ की सराहना
  • रक्षा मंत्री ने किया 35 परियोजनाओं का उद्घाटन

चमोली। उत्तराखंड दौरे पर आये रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने आज चमोली के ढाक गांव पहुंचकर बीआरओ द्वारा सीमावर्ती क्षेत्रों में चलाई जाने वाली 35 परियोजनाओं का उद्घाटन किया जिसमें सामरिक दृष्टिकोण से जुड़े तीन पुल भी शामिल है। जो भारत की सीमाओं को चीन से जोड़ते हैं।
ढाक गांव में आयोजित बीआरओ के इस कार्यक्रम को संबोधित करते हुए रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि देश की सीमाओं की सुरक्षा में बीआरओ की क्या भूमिका है इसे हर एक देशवासी जानता है। सीमावर्ती क्षेत्रों में बीआरओ द्वारा जो काम किया जाता है वह सिर्फ नदी के दो तटों को जोड़ने या दो पहाड़ों के बीच खाई को पाटने तक सीमित नहीं है अपितु सीमाओं के पार बैठे उन सभी अपनों को जोड़ने का भी है जो दूसरे देशों में रहकर भी हमारे साथ रहते हैं।
उन्होंने कहा कि बीआरओ में जो स्थाई रूप से सरकारी सेवाएं देने वाले कर्मचारी हैं वह तो है ही उनके साथ आउटसोर्स माध्यम से अस्थाई कर्मचारियों की महत्ता को भी नकारा नहीं जा सकता है। उन्होंने कहा कि आज मैं उन अस्थायी कर्मचारियों की बात जरूर करूंगा जो देश व तमाम राज्यों से आकर बीआरओ के साथ कंधे से कंधा मिलाकर इन सड़कों व पुलों को बनाने में अपना योगदान देते हैं। उन्होंने बीआरओ के सरकारी कर्मचारियों से उनके साथ अच्छा व्यवहार करने व उन्हें अपना ही हिस्सा मानने की अपील की। उन्होंने कहा कि उन्हें सरकार द्वारा जो सुविधाएं दी जाती हैं उसमें उनका बीमा राशि को बढ़ाकर 2 लाख से 5 लाख कर दिया गया है।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि बीआरओ देश की सीमा सुरक्षा में ही नहीं राज्य के इंफ्रास्ट्रेक्चर निर्माण और कनेक्टिविटी विकास में सबसे अहम योगदान देता है। जिसके लिए उसके कामों की जितनी सराहना की जाए कम है। उन्होंने कहा कि सीमावर्ती दुर्गम क्षेत्रों में हम जो भी विकास देख रहे हैं वह सब बीआरओ के अथक परिश्रम व मेहनत की ही देन है।

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