अंतिम दर्शन के लिए उमड़ा जनसैलाब
दिल्ली के कैंट स्थित श्मशान में किया गया अंतिम संस्कार
नई दिल्ली। सीडीएस बिपिन रावत और उनकी पत्नी मधुलिका रावत का पूरे सैन्य सम्मान के साथ दिल्ली कैंट स्थित श्मशान में अंतिम संस्कार कर दिया गया।
इससे पूर्व उनका पार्थिव शरीर उनके दिल्ली स्थित आवास पर अंतिम दर्शनों के लिए लाया गया था जहां तमाम आम और खास लोगों ने नम आंखों से उन्हे भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की गयी। इस अवसर पर उत्तराखंड से ही नहीं देश के कोने—कोने से लोग उनके अंतिम दर्शनों के लिए पहुंचे। गृह मंत्री अमित शाह और रविशंकर से लेकर तमाम बड़े नेता उन्हे श्रद्धांजलि देने पहुंचे। वहीं तमाम विपक्षी दलों के नेता और कई राज्यों के मुख्यमंत्री और जनप्रतिनिधि उनके निवास स्थान पर श्रद्धांजलि देने के लिए पहुंचे। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर धामी, प्रदेश अध्यक्ष भाजपा मदन कौशिक, पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत, त्रिवेंद्र सिंह रावत, तीरथ सिंह रावत ने भी उन्हें श्रद्धा सुमन अर्पित किए। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने भी उनको भावपूर्ण श्रद्धांजलि अर्पित की। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खटृर तथा सपा के संस्थापक व पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव सहित अनेक वरिष्ठ नेताओं ने उनके आवास पहुंचकर उन्हें श्रद्धा सुमन अर्पित किए।
जनरल बिपिन रावत को श्रद्धा सुमन अर्पित करने के लिए उत्तराखंड से बड़ी संख्या में लोग दिल्ली पहुंचे। जनरल रावत की ननिहाल उत्तरकाशी से कुछ लोग गंगाजल लेकर उनके अंतिम दर्शनों के लिए पहुंचे। दोपहर दो बजे बाद जनरल रावत व उनकी पत्नी का शव सेना के फूलों से सजे वाहन से कैंट ले जाया गया। इस अवसर पर सेना के 6 बैंडों ने मातमी धुन बजा कर उन्हें अंतिम सलाम किया। वही जनरल रावत को अंतिम संस्कार के समय 17 तोपों की सलामी दी गई। शव यात्रा के दौरान लोगों ने उन पर फूल वर्षा की तथा भारत माता अमर रहे, जनरल रावत अमर रहे, के नारे भी लगाए गए। इससे पूर्व आज इसी हेलीकॉप्टर दुर्घटना में शहीद हुए ब्रिगेडियर एल एस लिद्दड को उनकी १३ वर्षीय पुत्री आसना लिद्दड ने उन्हें मुखाग्नि दी। शहीद ब्रिगेडियर का अंतिम संस्कार पूर्ण राजकीय सम्मान के साथ किया गया।