देहरादून। अपनी 9 सूत्रीय मांगों को लेकर राज्य आन्दोलनकारियों ने आज सरकार के खिलाफ प्रदर्शन कर सीएम आवास कूच किया।
राज्य आंदोलनकारियों में इस बात को लेकर आक्रोश है कि अब तक कि कोई भी सरकार राज्य को आंदोलनकारियों के सपनों का राज्य नहीं बना सकी है। राज्य बनने के दो दशक बाद भी राज्य की सरकार रामपुर तिराहा गोलीकांड और खटीमा तथा मसूरी कांड के दोषियों को सजा नहीं दिलवा सकी है, और आरोपी अभी भी खुलेआम घूम रहे हैं।
आंदोलनकारियों की मांग है कि दोषियों को शीघ्र सजा दिलाई जाए। राज्य आंदोलनकारी अपनी उपेक्षा किए जाने से भी नाराज हैं उनकी मांग है कि शहीद राज्य आंदोलनकारियों के आश्रितों की पेंशन बढ़ाई जाए तथा उन्हें 10 प्रतिशत क्ष्ौतिज आरक्षण दिया जाए। उन्होंने कहा कि सभी सरकारें दावे व वायदे तो करती हैं लेकिन उन पर अमल नहीं किया जाता है।
आंदोलनकारियों की मांग है कि राज्य का आंदोलन गैरसैंण से शुरू हुआ था तथा उसी समय गैरसैंण को राजधानी बनाने की बात कही गई थी। लेकिन राजनीतिक दल गैरसैंण पर राजनीति करते आए हैं। उनकी मांग है कि गैरसैंण को राज्य की स्थाई राजधानी घोषित किया जाए। उन्हें गैरसैंण स्थाई राजधानी से कम कुछ भी मंजूर नहीं है। राज्य आंदोलनकारियों की 9 सूत्री मांगों में नया व सख्त भू—कानून भी शामिल है। उनका कहना है कि भूमाफिया राज्य की भूमि पर कब्जा कर रहे हैं जिसे रोकने को सख्त कानून बने। सीएम आवास कूच करते इन राज्य आंदोलनकारियों को हाथीबड़कला में रोक लिया गया जहां वह धरने पर बैठ गए और राज्य सरकार के खिलाफ नारेबाजी करने लगे।