काबुल। अफगानिस्तान में महिलाओं पर दमन का नया फरमान सामने आया है। तालिबान सरकार के एक महकमे ने ऐलान किया है कि जो महिलाएं बाजारों में दुकानें चलाती हैं, वे अपनी दुकानें गुरुवार तक बंद कर दें। टोलो न्यूज ने बताया, बल्ख के एक बाजार में दुकानें चलाने वाली कुछ महिलाओं ने कहा कि सदाचार विभाग ने उन्हें अगले गुरुवार तक अपनी दुकानें बंद करने का आदेश दिया है। टोलो न्यूज ने एक अन्य ट्वीट में आगे बताया, सदाचार विभाग के प्रमुख सैयद जहीर ने टोलो न्यूज को बताया कि पुरुषों के साथ काम करने और महिलाओं द्वारा हिजाब का पालन न करने के कारण दुकानें बंद थीं। स्थानीय अधिकारियों ने कहा कि ‘सिर्फ महिलाओं के लिए’ बाजार अभी भी खुले हैं। जब से अफगानिस्तान में तालिबानी राज आया है, तब से महिलाओं और बच्चियों पर जुल्म की पूरी श्रंखला देखने को मिल रही है। पहले लड़कियों के स्कूल बंद किए गए और अब यूनिवर्सिटी में भी लड़कियों की उच्च शिक्षा पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। महिलाएं महरम यानी बिना सगे-संबंधी पुरुषों के बाहर अकेले नहीं निकल सकतीं। सरकारी कार्यालयों, स्कूल, अस्पताल और निजी संस्थानों यहां तक की टीवी एंकरों में भी महिलाओं के काम करने पर पाबंदी लगा दी गई है। महिलाएं अब केवल महिला डॉक्टर को ही दिखा सकती हैं। पुरुष डॉक्टर से इलाज नहीं करवा सकती हैं। विडंबना यह है कि जब लड़कियां पढ़ेंगी नहीं, तो डॉक्टर कैसे बनेंगी. महिला डॉक्टरों और नर्सों पर पाबंदी की वजह से अस्पतालों में मरीजों का इलाज नहीं हो पा रहा है।