- विधायकों के वेतन—भत्तों व सुविधाओं में बड़ी वृद्धि
- दंगाइयों से वसूला जाएगा संपत्तियों का नुकसान
गैरसैंण। गैरसैंण में चल रहे उत्तराखंड विधानसभा सत्र के दूसरे दिन सरकार ने सात विधेयक प्रस्ताव पेश किये, जिसमें विधायकों के वेतन भत्तों और अन्य सुविधाओं में बढ़ोतरी के प्रस्ताव और लोक एवं निजी संपत्तियों की सुरक्षा अधिनियम भी शामिल है। आज सायं काल सरकार राज्य का अनुपूरक बजट भी पेश किया जाएगा। इन तमाम विध्ेायक प्रस्तावों और अनुपूरक बजट पर कल चर्चा होगी तथा सरकार द्वारा इन्हें पास कराने की कोशिश की जाएगी।
सरकार द्वारा आज पेश होने वाले विधेयक प्रस्तावों के बारे में मिली जानकारी के अनुसार विधायकों के वेतन भत्ते और अन्य सुविधाओं की समीक्षा के लिए गठित समिति की रिपोर्ट के आधार पर बढ़ोतरी की गई। विधायकों को देश व विदेशों में इलाज की फ्री सुविधा के साथ—साथ उन्हें मिलने वाले रेलवे यात्रा कूपन की जगह अब 30 हजार रूपये नगद देने की व्यवस्था की गई है। पहले यात्रा न करने की स्थिति में उन्हें मिलने वाले कूपन बेकार हो जाते थे अब वह यात्रा करें न करें उन्हें 30 हजार रूपये नगद एकमुस्त मिलेंगे वहीं ड्राइवर के वेतन को 12 हजार से बढ़ाकर 15 हजार कर दिया जाएगा। विधायकों को अब अनलिमिटेड मोबाइल बिल और इंटरनेट की सुविधा दी जाएगी तथा उन्हें 25 लाख तक ऋण लेने की छूट होगी। उनके वेतन और भत्तों में इससे पूर्व 2018 में 120 फीसदी वृद्धि की गई थी जिसके तहत उन्हें कुल 3 लाख के करीब प्राप्तियां वेतन भत्तों के रूप में होती थी जो इस वृद्धि के बाद 4 लाख रूपये प्रति माह के करीब हो जाएगी जो तेलंगाना और आंध्र प्रदेश के बाद सबसे ज्यादा होगी। यहां यह भी उल्लेखनीय है कि सरकार अपने खर्च कम करने की बात कहती है लेकिन उनके वेतन भत्तों और विधायक निधि की वृद्धि का जब मुद्दा आता है तो इसका कभी कोई विरोध नहीं किया जाता है। ऐसे प्रस्ताव आसानी से पास कर दिए जाते हैं जबकि राज्य पर 80 हजार करोड़ का कर्ज है।
इसके अलावा सरकार द्वारा निजी एवं पब्लिक संपत्ति अधिनियम विधेयक प्रस्ताव को पास होने पर राज्य में दंगों व प्रदर्शनों के दौरान होने वाले नुकसान की भरपाई अब दंगाइयों से की जाएगी। उत्तर प्रदेश सरकार ने इसे पहले ही लागू कर दिया है। इसके अलावा सरकार द्वारा खेल विश्व विघालय विधेयक भी लाया गया है। सरकार द्वारा आज सायंकाल राज्य अनुपूरक बजट भी पेश किया जाएगा जिस पर आज व कल चर्चा होगी। सरकार की कोशिश होगी कि कल सत्र के अंतिम दिन इन सभी विधेयकों व अनुपूरक बजट को पारित करा लिया जाए।