एसआईटी ने की थी जमानत रद्द करने की अपील
नैनीताल। उत्तराखंड के भर्ती घोटालों की जांच कर रही एसआईटी ने भर्ती घोटाले के आरोपियों को निचली अदालतों से दी गई जमानतों पर आपत्ति जाहिर करते हुए हाईकोर्ट में याचिका दायर कर उनकी जमानतों को रद्द करने की अपील की है। जिस पर हाईकोर्ट द्वारा अब जमानत पर छूटे आरोपियों को नोटिस जारी कर अपना पक्ष रखने के निर्देश दिए गए हैं।
एसआईटी द्वारा हाईकोर्ट में दायर याचिका में कहा गया था कि भर्तियों में घोटालों का यह मामला अत्यंत ही गंभीर और संवेदनशील है। भर्ती घोटाले के आरोपियों को निचली अदालतों से दी गई जमानतों को गलत ठहराते हुए इन्हें रद्द करने की मांग एसआईटी ने की थी। एसआईटी का कहना था कि अनेक भर्तियों में हुए इन घोटालों के आरोपियों को जमानतों पर छूटने से समाज में गलत संदेश गया है तथा इन घोटालों की जांच का काम भी प्रभावित हो रहा है। इसलिए इन भर्ती घोटालों के जमानत पाए गए सभी आरोपियों की जमानते रद्द की जाए।
हाईकोर्ट द्वारा इस मामले की सुनवाई करते हुए जमानतों पर छूटे सभी आरोपियों को नोटिस जारी कर उन्हेे अदालत के सामने अपना पक्ष रखने को कहा गया है। उल्लेखनीय है कि यूकेएसएसएससी पेपर घोटाले से सामने आए इन तमाम घोटालों में 88 लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है। 21 आरोपियों पर गैंगस्टर लगाया जा चुका है तथा 28 आरोपियों के खिलाफ चार्जसीट दायर की जा चुकी है। वहीं 200 से अधिक नकलची छात्रों को चिन्हित किया जा चुका है और इनसे पूछताछ की जा रही है। खास बात यह है कि अब इन भर्ती घोटालों के आरोपियों को निचली अदालतों से आसानी से जमानतें मिलती रही है जिसे लेकर यह चर्चाएं भी रही है कि इन मामलों में किसी को कुछ नहीं होगा। जबकि शासन स्तर पर इन आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की पैरवी की जाती रही है।