बजट 2024: खपत बढ़ाने के लिए कर दरें घटा सकती है सरकार

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नई दिल्ली। भारत सरकार कुछ कैटेगरीज के व्यक्तियों के लिए पर्सनल इनकम टैक्स रेट्स को कम करने पर विचार कर रही है। इससे भारतीय अर्थव्यवस्था में खपत को बढ़ावा मिल सकता है। जुलाई के आखिर में नरेंद्र मोदी सरकार अपने तीसरे कार्यकाल का पहला पूर्ण बजट पेश करेगी। इसमें आयकर दरों में राहत की घोषणा की जा सकती है। मतदान के बाद किए गए सर्वेक्षण से पता चला है कि मतदाता महंगाई, बेरोजगारी और घटती आय को लेकर चिंतित हैं। एक सूत्र के मुताबिक, जिन व्यक्तियों की सालाना आय 15 लाख रुपये से अधिक है, उन्हें टैक्स में कुछ छूट मिल सकती है। छूट की लिमिट को अभी निर्धारित किया जाना है। 2020 में शुरू की गई नई टैक्स व्यवस्था में बदलाव किए जा सकते हैं। इस व्यवस्था के तहत 15 लाख रुपये तक की वार्षिक टैक्सेबल इनकम पर 5-20 प्रतिशत टैक्स लगाया जाता है, जबकि 15 लाख रुपये से अधिक की टैक्सेबल इनकम पर 30 प्रतिशत टैक्स लगाया जाता है। सरकार 10 लाख रुपये की वार्षिक आय के लिए पर्सनल इनकम टैक्स रेट को कम करने पर भी विचार कर सकती है। पुरानी टैक्स व्यवस्था के तहत 30 प्रतिशत की उच्चतम टैक्स रेट के दायरे में वाली आय के लिए एक नई थ्रेसहोल्ड पर चर्चा की जा रही है। सोर्स के मुताबिक, टैक्स में कमी के चलते सरकार को टैक्स से आय में होने वाले किसी भी नुकसान की आंशिक रूप से भरपाई इस श्रेणी के इनकम अर्नर्स की खपत में वृद्धि से की जा सकती है। सरकार मार्च 2025 को समाप्त होने वाले वित्त वर्ष में जीडीपी के 5.1 प्रतिशत के राजकोषीय घाटे का लक्ष्य बना रही है।

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