श्रीनगर। जम्मू एंड कश्मीर बैंक लिमिटेड ने अपने मुख्य प्रबंधक सज्जाद अहमद बज़ाज़ को तत्काल प्रभाव से बर्खास्त कर दिया। बैंक प्रबंधन ने बज़ाज़ की तत्काल बर्खास्तगी के पीछे ‘देश की सुरक्षा हित’ को वजह बताया है, जो अपनी तरह का पहला मामला है।
सज्जाद अहमद बज़ाज़ अपने करियर के शिखर पर थे। एक कुशल लेखक सज्जाद को वर्ष 1990 में जम्मू-कश्मीर सरकार के स्वामित्व वाली जेएंडके बैंक में कैशियर-कम-क्लर्क के रूप में नियुक्त किया गया था। आगे चलकर वर्ष 2004 में उन्हें आंतरिक संचार प्रमुख के रूप में पदोन्नत किया गया था।
सूत्रों के मुताबिक, ऐसा प्रतीत होता है कि मौजूदा बैंक प्रबंधन को इस बात का जरा भी अंदाज़ा नहीं था कि बज़ाज़ पाकिस्तान के सबसे महत्वपूर्ण एसेट में से एक था, जो गुप्त रूप से आईएसआई और आतंकी संगठनों के लिए काम कर रहा था। सूत्रों ने बताया कि जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 को निरस्त किए जाने के बाद शीर्ष जांचकर्ता आतंकी पारिस्थितिकी तंत्र के भीतर गहरे छुपे आईएसआई के एसेट्स की कड़ियों की जांच कर रहे थे, तभी बज़ाज़ का नाम सामने आया।
सूत्रों के मुताबिक, एक महीने की लंबी और मुश्किल जांच के बाद वे हैरान रह गए। जांचकर्ताओं ने कहा कि मूल रूप से बटमालू श्रीनगर के रहने वाले सज्जाद अहमद बज़ाज़ को वर्ष 1990 में ग्रेटर कश्मीर अखबार के मालिक और संपादक फैयाज कालू के माध्यम से पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई द्वारा जेएंडके बैंक में लगाया गया था।
जम्मू-कश्मीर बैंक में सज्जाद की नियुक्ति कैशियर-कम-क्लर्क के पद पर थी। वर्ष 2004 में उन्हें अचानक ऐसे पद पर पहुंचा दिया गया जो बेहद संदिग्ध लगा, लेकिन सिस्टम में तब बड़ी और गहरी पैठ के कारण इस पर कोई आपत्ति नहीं हुई।